ISDN: Introduction and Full Form in Hindi
Makhanlal Chaturvedi University / BCA / Computer Networks
ISDN Technology Guide in Hindi
ISDN: Introduction and Full Form in Hindi
Integrated Services Digital Network, जिसे संक्षेप में ISDN कहा जाता है, एक डिजिटल टेलीकम्यूनिकेशन तकनीक है जो पब्लिक स्विच्ड टेलीफोन नेटवर्क (PSTN) को पूरी तरह डिजिटल बनाकर वॉइस, डेटा और वीडियो जैसी अनेक सेवाएँ एक ही लाइन पर प्रदान करती है। Analog लाइन में सिग्नल लगातार (continuous) रूप में चलता है, जबकि ISDN में वही सिग्नल 0 और 1 की साफ binary pulses में बदलकर भेजा जाता है, जिस कारण आवाज़ और डेटा की गुणवत्ता में भारी सुधार होता है। इस डिजिटल प्रकृति के कारण error कम आते हैं, bandwidth का बेहतर उपयोग होता है तथा connection setup time बहुत तेज़ (लगभग 1–2 सेकंड) रहता है।
ISDN की शुरुआत 1980s में हुई थी जब CCITT (अब ITU‑T) ने विशिष्ट standards जारी किए। इसका मुख्य उद्देश्य था कि एक सर्वव्यापी डिजिटल फोन नेटवर्क बने जिससे कोई भी यूज़र कहीं से भी कई तरह के multimedia सिग्नल ट्रांसफर कर सके। ISDN लाइन दो प्रमुख वर्ज़न में आती है—BRI (Basic Rate Interface) और PRI (Primary Rate Interface)। BRI छोटे उपभोक्ताओं / घरेलू ऑफिसों के लिए किफायती विकल्प है, जबकि PRI बड़े कॉरपोरेट या PABX सिस्टम्स के लिए ज़्यादा channels के साथ आता है।
| पैरामीटर | BRI (Basic Rate Interface) | PRI (Primary Rate Interface) |
|---|---|---|
| Channels | 2 × B‑channel (64 kbps) + 1 × D‑channel (16 kbps) | 30 × B‑channel (64 kbps) + 1 × D‑channel (64 kbps) (E1 मानक) |
| Total Bandwidth | 144 kbps | 2.048 Mbps |
| उपयोग क्षेत्र | Home office, SOHO | Large enterprise, Call centers |
| क़ीमत | कम | अधिक |
ISDN Services: Voice, Data and Video Transmission in Hindi
ISDN का सबसे बड़ा आकर्षण यह है कि एक ही twisted‑pair copper या fiber लाइन पर अलग‑अलग प्रकार के services simultaneously चल सकते हैं। नीचे मुख्य सेवाओं को विस्तार से समझें:
- Voice Service – पारंपरिक telephone कॉल की तरह ही काम करती है लेकिन ध्वनि पूरी तरह डिजिटल रूप में जाती है, जिससे noise व echo लगभग न के बराबर होते हैं। कॉल सेट‑अप बहुत तेज़ होने के कारण dial‑up की प्रतीक्षा नहीं करनी पड़ती।
- Data Service – 64 kbps प्रति B‑channel पर packet data, file transfer, e‑mail, remote login आदि सुविधाएँ देती है। BRI में दो B‑channels होने से bonding कर 128 kbps तक स्पीड पाना संभव है।
- Video Service – ISDN के आने से video conferencing पहली बार व्यावहारिक बना; 2 × B‑channel bond करके 128 kbps पर QCIF / CIF क्वालिटी वीडियो संभव हुआ, जो उस समय corporate meetings और distance education के लिए क्रांतिकारी था।
- Supplementary Services – Caller ID, Call forwarding, Call waiting, Closed user group जैसे अतिरिक्त सुविधाएँ ITU‑T की Q.931 signalling के जरिए सरलता से सक्रिय की जा सकती हैं।
ध्यान दें कि प्रत्येक सेवा B‑channel पर खुद का 64 kbps circuit पाती है, जबकि D‑channel पूरी लाइन पर signalling & control संभालता है। इसी कारण circuit switching की स्थिरता और packet switching की फ्लेक्सिबिलिटी, दोनों का लाभ यूज़र को एक साथ मिलता है।
ISDN Features: Digital Transmission and Circuit Switching in Hindi
ISDN के प्रमुख features को समझना ज़रूरी है ताकि इसकी उपयोगिता का सही आकलन किया जा सके। नीचे महत्वपूर्ण विशेषताओं की सूची दी गई है:
- Pure Digital Transmission – सभी voice और data सिग्नल डिजिटल होते हैं, जिससे attenuation कम होती है और लंबी दूरी तक सिग्नल बिना दोबारा amplify किए पहुँच जाता है।
- Fast Call Setup – Q.931 प्रोटोकॉल के कारण कॉल कनेक्शन कुछ सेकंड में बन जाता है; यह analog dial‑up मोडेम से कई गुणा तेज़ है।
- Multiple Logical Channels – एक ही भौतिक लाइन पर कई B‑channels मिलने से यूज़र एक साथ internet access और phone call कर सकता है।
- Circuit Switching Reliability – हर B‑channel एक dedicated circuit प्रदान करता है, जिससे latency स्थिर रहती है; यही कारण है कि video conference और real‑time data के लिए ISDN विश्वसनीय माना गया।
- Compatibility with Existing Infrastructure – अधिकतर मामलों में पुराने copper pair पर ही ISDN एक्टिवेट किया जा सकता है, इसलिए capital expenditure कम आता है।
- Interoperability – ITU‑T की स्पष्ट standards के कारण अलग‑अलग CPE (Customer Premises Equipment) – जैसे ISDN फोन, TA (Terminal Adapter), router आदि – आपस में आसानी से काम करते हैं।
- Security – डिजिटल सिग्नल में encryption लगाना सरल है, जिससे corporate VPN सेट‑अप करना सुरक्षित और सहज होता है।
| Parameter | Analog PSTN | ISDN |
|---|---|---|
| Call Setup Time | 10 – 30 सेकंड (modem handshake) | 1 – 2 सेकंड |
| Typical Data Rate | 33.6 – 56 kbps | 64 – 128 kbps (BRI) |
| Error Rate | उच्च (line noise sensitive) | न्यूनतम (digital signal) |
ISDN Applications in Hindi
ISDN की सुविधाओं ने 1990–2000 के दशक में अनेक industries को नई दिशा दी। नीचे प्रमुख applications की विस्तृत सूची है:
- Video Conferencing – शिक्षा, हेल्थ‑केयर और कॉरपोरेट बोर्डरूम्स में ISDN‑based H.320 codecs द्वारा दो‑तरफ़ा वीडियो कॉल संभव हुआ; यह उन दिनों satellite link से कई गुना सस्ता था।
- Remote LAN Access – ISDN router के माध्यम से मुख्य कार्यालय के LAN को रिमोट साइट से जोड़कर file sharing व groupware रिपोर्टिंग सरल बनाया गया।
- Backup Connectivity – कई कंपनियों ने leased line फेल होने की स्थिति में ISDN को redundant link के रूप में रखा; automatic dial backup फीचर के कारण डाउनटाइम लगभग शून्य रहा।
- Broadcast Media – रेडियो स्टेशनों ने मैदान या स्टूडियो से बाहर live audio भेजने के लिए ISDN MPEG Layer‑II codecs पर भरोसा किया, जिससे उच्च गुणवत्ता की outside broadcast संभव हुई।
- Interactive Services – प्रारंभिक online banking, stock trading, distance learning सेवाएँ ISDN की तेज़ और सुरक्षित dial‑up क्षमता पर बनीं।
- Small Office Telephony – ISDN BRI पर two simultaneous calls की सुविधा और व्यापक supplementary services ने छोटे call centers को किफ़ायती समाधान दिया।
- Telemetry & SCADA – दूरदराज़ के पावर‑ग्रिड या पाइपलाइन से real‑time control data भेजने‑पाने में ISDN ने भरोसेमंद माध्यम दिया, खासकर उन क्षेत्रों में जहाँ leased circuits महंगे थे।
- Disaster Recovery – मोबाइल ISDN टर्मिनलों के जरिए आपदा‑ग्रस्त इलाकों में तुरंत voice/data links स्थापित कर relief coordination तेज़ी से हो पाई।
इन सभी उपयोगों ने यह सिद्ध किया कि ISDN भले ही अब DSL, Cable, 4G/5G जैसी आधुनिक ब्रॉडबैंड तकनीकों से प्रतिस्थापित हो रहा है, लेकिन इसकी digital circuit अवधारणा ने modern converged networks का मार्ग प्रशस्त किया। वर्तमान में भी अनेक niche क्षेत्रों—जैसे studio‑to‑transmitter links—में ISDN विश्वसनीय fallback विकल्प बना हुआ है।